चित्रपट / एल्बम :दिल्ली का ठग (1958)
संगीतकार :रवि
गीतकार : मजरूह सुल्तानपुरी
गायक  :किशोर कुमार 
हम तो मोहब्बत करेगा
दुनिया से नहीं डरेगा 
चाहे ये ज़माने कहे हमको दीवाना
अजी हम तो मोहब्बत करेगा 
चुपके से आप तो दिल लेके चले जाते हैं
पीछे-पीछे दीवाने फिर भी चले आते हैं
(मेरी जूती से )
जूता पोलिश करेगा, लेकिन तुम पे मरेगा 
चाहे ये ज़माने कहे हमको दीवाना
अजी हम तो मोहब्बत करेगा...
ठोकर से और भी अरमां ये, जवां होते हैं 
दुनियाँ में हम जैसे आशिक भी कहाँ होते हैं 
(अरे वाह रे मजनू)
लैला लैला करेगा, ठंडी आहें भरेगा
चाहे ये ज़माने कहे हमको दीवाना
अजी हम तो मोहब्बत करेगा...
दूर हो होके अजी, यूँ न सताओ हमको
हम जीयें कैसे भला ये तो बताओ हमको
(डूब मरो)
डूबेगा नहीं तरेगा, प्यार से नहीं डरेगा 
चाहे ये ज़माने कहे हमको दीवाना
अजी हम तो मोहब्बत करेगा...
 
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