Wednesday, 1 February 2017

# Raat Ke Humsafar / रात के हमसफ़र

चित्रपट / एल्बम : ऐन इवनिंग इन पैरिस (1967)
संगीतकार : शंकर जयकिशन
गीतकार : हसरत जयपुरी
गायक एवं गायिका  : मो.रफ़ी, आशा भोंसले

रात के हमसफ़र, थक के घर को चले
झूमती आ रही है सुबह प्यार की
देख कर सामने, रूप की रोशनी
फिर लुटी जा रही है सुबह प्यार की

सोने वालों को हँसकर जगाना भी है
रात के जागतों को सुलाना भी है
दिल की है जागने की सदा साथ ही
लोरियां गा रही है सुबह प्यार की
रात के हमसफ़र...

रात ने प्यार के जाम भर कर दिए
आँखों आँखों से जो मैंने तुमने पिए
होश तो अब तलक जाके लौटे नहीं
और क्या ला रही है सुबह प्यार की
रात के हमसफ़र...

क्या क्या वादे हुए किसने खाई कसम
इस नयी राह पर हमने रखे कदम
छुप सका प्यार कब हम छुपाएँ तो क्या
सब समझ पा रही है सुबह प्यार की
रात के हमसफ़र...

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